दिल्ली पुलिस ने चीनी लोन ऐप फ्रॉड और एक्सटॉर्शन रैकेट का पर्दाफाश किया है और इसमें लिप्त 4 लोगों को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने इनके दफ्तर से 153 हार्ड डिस्क, तीन लैपटॉप, 141 फीचर यानी कीपैड फोन, 10 एंड्रॉइड स्मार्टफोन और चार DVR बरामद की है। ये चारों आरोपी 149 कर्मचारियों वाला दफ्तर चला रहे थे, जहां लोगों से फर्जी लोन ऐप के जरिए वसूली की जाती थी। पुलिस की जांच में यह पता चला है कि ये चारों आरोपी दो चीनी नागरिक के संपर्क में थे, जो फर्जी लोन ऐप रन करने में इनकी मदद करते थे। Also Read - Meta ने हटाए Facebook और Instagram के 300 अकाउंट, उठ रहे कई सवाल
दिल्ली पुलिस ने इस रैकेट में शामिल चारों अभियुक्तों की पहचान अनिल कुमार, आलोक शर्मा (24), अवनीश (22), और कन्नन (35) के रूप में की है। पुलिस के मुताबिक, इस फर्जी लोन ऐप रैकेट का मास्टरमाइंड अनिल कुमार है। Also Read - भारत समेत इन देशों में मोबाइल Apps पर यूजर्स डेली बिता रहे 4 से 5 घंटे
14 जुलाई को शिकायत दर्ज
14 जुलाई को हिमांशु गोयल नाम के शख्स ने नेशनल क्राइम रिपोर्टिंग पोर्टल में फर्जी लोन ऐप के खिलाफ शिकायत दर्ज की थी। हिमांशु गोयल ने अपनी रिपोर्ट में कहा था कि Facebook स्क्रॉल करने के दौरान उसका ध्यान एक ऐड की तरफ गया, जिसपर बिना किसी झंझट के 50 हजार रुपये का लोन ऑफर किया जा रहा था। Also Read - Facebook Live Shopping फीचर होगा बंद, कंपनी Reels पर शिफ्ट कर रही फोकस
फर्जी लोन ऐप On Stream डाउनलोड करने के बाद, उससे कॉन्टैक्ट्स, गैलरी आदि ऐक्सेस करने के परमिशन मांगे गए। सारे परमिशन देने के बाद हिमांशु को 6,870 रुपये का लोन सेंक्शन किया गया, जिसके बाद ऐप संचालन करने वाले आरोपियों ने उसके कॉन्टैक्ट्स और फोटो का इस्तेमाल करके धमकी देना शुरू कर दिया। अपनी शिकायत में हिमांशु गोयल ने बताया कि उसने अब तक 1 लाख रुपये उन लोगों को दिए हैं। वे लोग और भी रकम की मांग कर रहे हैं।
द्वारका में चल रहा था कॉल सेंटर
दिल्ली पुलिस ने जांच में पाया कि द्वारका सेक्टर 7 में तीसरे फ्लोर पर फलाई हाई ग्लोबल सर्विसेज एंड टेक्नोलॉजी (Fly High Global Services and Technology) के नाम से एक बड़ा कॉल सेंटर चलाया जा रहा है। पुलिस ने इसके बाद छापेमारी करके कंपनी के मालिक अनिल कुमार (द्वारका सेक्टर 3 निवासी) और तीन टीम लीडर्स को गिरफ्तार किया।
पुलिस जांच में पाया गया कि इन लोगों ने सिलपानी इंटरनेशनल (Silpani International) के नाम से 300 सिम कार्ड खरीदे थे, जिनमें से 100 सिम कार्ड का इस्तेमाल WhatsApp पर भद्दे मैसेज भेजने और धमकाने के लिए किए जा रहे थे।
एक साल में 10 लोगों से ठगे 10 करोड़ रुपये
दिल्ली पुलिस ने बताया कि चारों आरोपी और इसके चीनी साथी मिलकर अबतक बड़े रकम की उगाही कर चुके हैं। रिपोर्ट के मुताबिक, अब तक आरोपियों ने दो चीनी नागरिक एलबर्ट और ट्रे को 10 करोड़ रुपये दिए हैं और मार्च 2021 से अब तक 3 करोड़ रुपये कमीशन कमाए हैं। ये लोग मल्टी लिंगुअल Ding Talk ऐप के जरिए बात करते थे।
इतना ही नहीं, पुलिस ने जांच में यह भी पता लगाया कि ये लोग यूजर्स को धमकाने के लिए उनके फोटो से भी छेड़-छाड़ करते थे। दिल्ली पुलिस ने कहा कि ये लोग एक सिंडिकेट की तरह द्वारका सेक्टर-7 में अपना धंधा चला रहे थे। कॉल सेंटर में काम करने वाले टेलीकॉलर यूजर्स को भद्दे मैसेज और उनके फोटो का मिसयूज करके धमकाते थे और पैसे की उगाही करते थे। यही नहीं, यूजर के आधार और पैन कार्ड के फोटो को मार्फ करके उनके रिलेटिव को भेजते थे।
इस रैकेट के मास्टरमाइंड अनिल ने पुलिस को बताया कि वो दो चीनी नागरिकों के संपर्क में हैं, जिन्होंने ये कॉल सेंटर सेटअप करने में उसकी मदद की थी। इस कॉल सेंटर में करीब 150 लोग काम करते थे।