भारत सहित अनेक देशों में इंटरनेट विशेषकर मोबाइल इंटरनेट को बढ़ावा देने के लिए प्रमुख प्रौद्योगिकी कंपनी गूगल ने आज अनेक नये समाधान पेश किए। कंपनी के इन नये समाधानों में सस्ते स्मार्टफोन के लिए एंड्रायड ओरियो ‘गो’ संस्करण व गूगल मैप का ‘बाइक मोड’ शामिल है। Also Read - Smartphone Buying Guide: फोन खरीदने से पहले ये 5 चीजें नहीं देखीं तो पक्का ठगे जाएंगे
Also Read - 3 में से 1 बच्चा ऑनलाइन देख रहा ‘गलत’ कॉन्टेंट, 29 पर्सेंट सोशल मीडिया पर शेयर कर देते हैं निजी जानकारियां- स्टडीइसके साथ ही कंपनी ने घोषणा की है कि वह गूगल असिस्टेंट का विशेष संस्करण लाने के लिए रिलायंस जियो के साथ काम करेगी। इस विशेष संस्करण का इस्तेमाल रिलायंस जियो के स्मार्ट फीचर फोन में किया जाएगा। गूगल ने अपने सालाना कार्यक्रम ‘गूगल फोर इंडिया’ के तीसरे संस्करण में आज यहां ये घोषणाएं की। गूगल के उपाध्यक्ष सीजर सेनगुप्ता ने कहा कि गूगल के उत्पादों व फीचरों के भारत प्रथम पेशकश का उद्देश्य लोगों को यह समझाना है कि इंटरनेट कैसे जीवन को आसान व अधिक सुगम बना सकता है। Also Read - रूस खुद को ग्लोबल इंटरनेट से कर रहा अलग? जानें क्या है पूरा मामला
उन्होंने कहा, ‘ये उत्पाद व फीचर भारत प्रथम हैं लेकिन वे केवल भारत के लिए नहीं हैं। अगर हम भारत के लिए बेहतर उत्पाद बनाते हैं तो एक तरह से हम हर किसी के लिए बेहतर उत्पाद बनाते हैं।’ एंड्रायड ओरियो के विशेष ‘गो’ संस्करण के बारे में उन्होंने कहा इंटरनेट पर नये लोगों के लिए एंड्रायड ओरियो शुरुआती स्तर के फोनों पर उनके अनुभव को बेहतर बनाएगा। उन्होंने कहा कि ‘गूगल गो’ उपयोक्ताओं को अपने डिवाइस में और जगह बनाने, फाइल तेजी से ढूंढने तथा आसपास के लोगों आफलाइन फाइल साझा करने की सुविधा देगा।
सेनगुप्ता ने उम्मीद जताई कि हैंडसेट कंपनियां अगले साल के शुरू में एंड्रायड ओरियो गो संस्करण पर आधारित स्मार्टफोन पेश करेंगी। इस आपरेटिंग सिस्टम को एक जीबी या इससे कम रैम वाले किसी भी स्मार्टफोन में इस्तेमाल किया जा सकेगा। गूगल के नये हल्के एप में गूगल गो (सर्च के लिए) भी शामिल है। कंपनी यूट्यूब का बीटा संस्करण पहले ही पेश कर चुकी है।
उन्होंने कहा कि रिलायंस जियो फोन के लिए गूगल असिस्टेंट का विशेष संस्करण तैयार किया गया है जो कि हिंदी व अंग्रेजी दोनों भाषा में है। पहली बार गूगल के इस आभासी सहायक को किसी फीचर फोन में उपलब्ध करवाया गया है। अगले कुछ महीनों में गूगल अपने प्लेटफार्म पर देश के 20 शहरों की वायु गुणवत्ता के बारे में भी सूचना देगा।