Google सर्च इंजन Incognito Mode या प्राइवेट ब्राउजिंग मोड में भी यूजर्स का डेटा कलेक्ट करता है। यह बात टेक्सस के एटॉर्नी जनरल केन पेक्सटन (Ken Pexton) ने गुरुवार यानी 19 मई को गूगल की पेरेंट कंपनी Alphabet Inc के खिलाफ दायर एक केस में कही है। कोर्ट में दायर हलफनामे के मुताबिक, गूगल प्राइवेट मोड में ब्राउजिंग करने पर भी यूजर के निजी डेटा को कलेक्ट करता है। Also Read - WWDC 2022 में Apple ने जोड़े 5 ऐसे फीचर, जो Google यूजर्स पहले से कर रहे यूज
बता दें साल की शुरुआत में टेक्सस, इंडियाना, वाशिंगटन और कोलंबिया के अलग-अलग अदालतों में भी Google के खिलाफ लोकेशन ट्रैकिंग का केस दर्ज हुआ था, जो यूजर प्राइवेस की विरूद्ध था। Also Read - Google Doodle: कौन थे Angelo Moriondo, जिनकी याद में गूगल ने बनाया शानदार डूडल?
प्राइवेट ब्राउजिंग में भी कलेक्ट करती है यूजर डेटा
केन पेक्सटन ने Google के खिलाफ दायर याचिका में कहा कि किसी भी ब्राउजर का इनकॉगनिटो मोड या प्राइवेट ब्राउजिंग मोड सेफ ब्राउजिंग के लिए होता है। इसका मतलब है कि कंपनी यूजर के सर्च हिस्ट्री और लोकेशन एक्टिविटी को ट्रैक नहीं करेगी। Also Read - Google Pay ने जोड़ा Hinglish भाषा का सपोर्ट, इस हाइब्रिड भाषा को ऐसे करें सेट
इस लॉसूट नें आगे कहा गया कि गूगल प्राइवेट ब्राउजिंग का विकल्प देती है, जो पर्सनल यानी निजी वेबसाइट को देखने के लिए होती ही जैसे कि मेडिकल हिस्ट्री, पॉलिटिकल परसुएशन और सेक्सुअल ओरिएंटेशन आदि को सर्च करने के लिए इस मोड का इस्तेमाल होता है। मुकदमे में यह भी कहा गया कि यह मोड सरप्राइज गिफ्ट के लिए भी इस्तेमाल होता है, ताकि यूजर को गिफ्ट के ऐड यानी विज्ञापनों से टारगेट न किया जाए।
गूगल ने आरोप को नकारा
Google ने केन पेक्स्टन के क्लेम यानी दावों को झूठा बताया और कहा कि यह गलत तथ्यों के आधार पर दावा किया गया है। हम हमेशा यूजर्स की प्राइवेसी का ख्याल रखते हैं और अपने प्रोडक्ट्स में प्राइवेसी फीचर को जोड़ते हैं जो लोकेशन डेटा के लिए कंट्रोल प्रदान करते हैं। गूगल ने आगे कहा कि हम इस विवाद को सिरे से नकारते हैं और इस मामले में अपना पक्ष प्रखरता के साथ रखेंगे।
केन पेक्स्टन ने पहले भी गूगल पर आरोप लगाया था कि कंपनी यूजर की निजी जानकारियां लगातार ट्रैक करती है और यूजर जब इसके बचाव के बारे में पूछते हैं तो उन्हें गुमराह करती है। गूगल के पास लोकेशन हिस्ट्री सेटिंग्स है और यह बताती है कि अगर इसे आप ऑफ कर देते हैं तो आप कहीं भी जाते हैं तो आपकी लोकेशन स्टोर नहीं होती है।